10 लाख की शादी में गाजे-बाजे के साथ गंगा गाय को ब्याह ले गया प्रकाश बैल
इंदौर: मध्य प्रदेश के इंदौर में सोमवार को धूमधाम से एक गाय और बैल की शादी करा दी गई. यह शादी हिंदू रीति-रिवाज से संपन्न हुई. खास बात यह है कि शादी में पूरा तामझाम वैसा ही था जैसा अमूमन भारतीय शादियों में होता है.
खास खबर के मुताबिक बैंड-बाजा-बारात, नाच-गाना, कपडे, गहने, पकवान, मिठाइयां और ढेर सारे लोग. इस शादी पर १० लाख से भी ज्यादा रूपये खर्च किए गए. ५,००० से भी ज्यादा गांववाले गंगा नाम की गाय और प्रकाश नाम के बैल के ब्याह के साक्षी बने. गंगा के मालिक गोपाल पटवारी ने प्राकृतिक आपदा से खेती को बचाने के लिए इस शादी का आयोजन किया था.
शादी के मौके पर दुल्हन गंगा ने लाल रंग की साडी, जेवर और माला पहनी हुई थी. वहीं, दूल्हा प्रकाश भी कहां पीछे रहने वाला था. उसे रंग-बिरंग शेरवानी, नारंगी पग़डी और शानदार बग्गी पहनाई गई थी. मंडप पर पहले प्रकाश को ले जाया गया, जहां पुजारी मंत्रोच्चार कर रहे थे.
बाद में गंगा की एंट्री हुई और फिर मंत्रोच्चार के बीच दोनों ने अग्नि को साक्षी मानकर सात फेरे लिए और विवाह के बंधन में बंध गए. इससे पहले हल्दी और गणेश पूजा भी हुई थी.
सूत्रों के मुताबिक आसपास के इलाकों में ओलावृष्टि और भारी बारिश हुई है और लोगों की खेती बरबाद हो गई. हमारे गांव में ऎसा न हो इसलिए हमने साधु और पुजारी की सलाह पर इस शादी का आयोजन किया. ऎसा करने से हमारे गांव में शांति बनी रहेगी.
इंदौर: मध्य प्रदेश के इंदौर में सोमवार को धूमधाम से एक गाय और बैल की शादी करा दी गई. यह शादी हिंदू रीति-रिवाज से संपन्न हुई. खास बात यह है कि शादी में पूरा तामझाम वैसा ही था जैसा अमूमन भारतीय शादियों में होता है.
खास खबर के मुताबिक बैंड-बाजा-बारात, नाच-गाना, कपडे, गहने, पकवान, मिठाइयां और ढेर सारे लोग. इस शादी पर १० लाख से भी ज्यादा रूपये खर्च किए गए. ५,००० से भी ज्यादा गांववाले गंगा नाम की गाय और प्रकाश नाम के बैल के ब्याह के साक्षी बने. गंगा के मालिक गोपाल पटवारी ने प्राकृतिक आपदा से खेती को बचाने के लिए इस शादी का आयोजन किया था.
शादी के मौके पर दुल्हन गंगा ने लाल रंग की साडी, जेवर और माला पहनी हुई थी. वहीं, दूल्हा प्रकाश भी कहां पीछे रहने वाला था. उसे रंग-बिरंग शेरवानी, नारंगी पग़डी और शानदार बग्गी पहनाई गई थी. मंडप पर पहले प्रकाश को ले जाया गया, जहां पुजारी मंत्रोच्चार कर रहे थे.
बाद में गंगा की एंट्री हुई और फिर मंत्रोच्चार के बीच दोनों ने अग्नि को साक्षी मानकर सात फेरे लिए और विवाह के बंधन में बंध गए. इससे पहले हल्दी और गणेश पूजा भी हुई थी.
सूत्रों के मुताबिक आसपास के इलाकों में ओलावृष्टि और भारी बारिश हुई है और लोगों की खेती बरबाद हो गई. हमारे गांव में ऎसा न हो इसलिए हमने साधु और पुजारी की सलाह पर इस शादी का आयोजन किया. ऎसा करने से हमारे गांव में शांति बनी रहेगी.
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