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Monday, May 14, 2018

रीको मे प्रदूषण नियंत्रण मंडल की अनुमति के बिना 106 इकाइयों को चालू करवाना पड़ सकता है भारी

रीको क्षेत्र मे सीईटीपी ने चहेतो को बाटी 106 इकाइयों को संचालन की रेवडिया,
बिठूजा मे छोटे उद्यमियो की सीईटीपी ने काटी सांसे,
सीईटीपी पदाधिकारियो का दोहरा रवैया,टेक्सटाइल उद्योग पर भारी पड़ सकती है सीईटीपी ट्रस्ट की मनमानियां।
सीईटीपी पदाधिकारी जिला कलेक्टर को भी कर रहे गुमराह।
बालोतरा
बालोतरा (बाड़मेर) मे टेक्सटाइल इकाइयों के संचालन के लिये गठित सीईटीपी ट्रस्ट  द्वारा एनजीटी के आदेश की अवहेलना कर अपने चहेतो को इकाई संचालन की अनुमति देकर अपने पेरो पर कुल्हाड़ी मार ली है। सीईटीपी के पूर्व पदाधिकारियो ने गलत तरीके से 106 इकाइयों का संचालन शुरु करवाया पर प्रदूषण नियंत्रण मंडल की संचालन अनुमति नही दिला पाये। सीईटीपी मे नए पदाधिकारी आये पर अभी तक 106 अवैध इकाइयों का संचालन बंद नही करवा पाये है । सीईटीपी ट्रस्ट छोटे उद्यमियो को डंडा दिखा रहा है पर बड़ी इकाइयों के खिलाफ नतमस्तक हो जाता है। सीईटीपी ट्रस्ट ने 2016 मे 106 टेक्सटाइल इकाइयों को ओर अपने स्तर पर प्रदूषण नियंत्रण मंडल की अनुमति के बिना शुरू करवाया यह एनजीटी के आदेश की अवहेलना है। यह बात प्रबोधन कमिटी के अध्यक्ष जिला कलक्टर बखूबी जानते है पर दो वर्ष बाद भी उन 106 अवैध इकाइयों को बंद नही किया जा रहा है। अब मामले का खुलासा होने के बाद जिला कलेक्टर एनजीटी के अवहेलना से बचने के लिये पिछले दो वर्षो से अवैध रूप से संचालित 106 इकाइयों को नियमो को ताक पर रखकर पिछले दरवाजे से संचालन अनुमति देने को तैयारी मे है। अगर टेक्सटाइल इकाई के संचालन के लिए केवल सीईटीपी ट्रस्ट की कनेक्टिविटी ही जरूरी है तो मण्डल कार्यालय को एनओसी  जारी करने का काम बंद कर देना चाहिए।
उक्त अवैध बिना प्रदूषण नियन्त्रण मंडल को एनओसी के संचालित 106 इकाइयों को 10 केलडी की क्षमता की एनओसी ट्रस्ट ने दी है पर उक्त इकाइयां 60 केलडि का कार्य कर रही है। उक्त इकाइयों से निकलने वाला रासायनिक प्रदूषित पानी सीधे ही लूणी नदी मे डाला जा रहा है जो एनजीटी के आदेश की अवहेलना है।
बिठूजा औद्योगिक क्षेत्र मे करीब 23 इकाइयां अवैध रूप से व जेरला रोड क्षेत्र मे 50 अवैध इकाइयां ओर भेरजि की वाड़ी क्षेत्र मे करीब 15 इकाइयों सहित बालोतरा मे करीब 210 इकाइयां प्रदूषण नियंत्रण मंडल की अनुमति के संचालित हो रही है। इन इकाइयों को प्रदूषण नियंत्रण मंडल बंद नही करवा रहा है।
सीईटीपी की जिला प्रबोधन कमिटी मे आज तक किसानो को सदस्य नही बनाया गया है जबकि इस बाबत सरकार ने निर्देश जारी कर रखे है। सीईटीपी प्लांट संचालन मे चल रही गड़बड़िया सामने नही आ जाये इसलिए ट्रस्ट पिछले लंबे समय से प्रबोधन कमिटी किसान को सदस्य नही बना रही है

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